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नई दिल्ली, 07 जनवरी (हि.स.)। इस्पात मंत्रालय ने सोमवार को नई दिल्ली में इस्पात उद्योग में कृत्रिम बुद्धिमत्ता और मशीन लर्निंग नामक एक प्रमुख कार्यक्रम का आयोजन किया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य इस्पात क्षेत्र में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) की परिवर्तनकारी क्षमता का पता लगाना था, जिसमें दक्षता, स्थिरता और वैश्विक प्रतिस्पर्धा को बढ़ावा देने के लिए मूल्य श्रृंखला में इसके अनुप्रयोग पर ध्यान केंद्रित किया गया।
इस्पात मंत्रालय ने जारी एक बयान में बताया कि इस कार्यक्रम में उद्योग जगत के नेता, एआई विशेषज्ञ और नीति निर्माता विचारों का आदान-प्रदान करने, अंतर्दृष्टि साझा करने और इस्पात उद्योग में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के अनुप्रयोग में प्रगति का पता लगाने के लिए एक साथ आए। एमडी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष और मुख्य सूचना अधिकारी हसमुख रंजन ने इस्पात निर्माण में एआई की क्रांतिकारी क्षमताओं और उद्योग में एआई के उपयोग के दायरे पर बहुमूल्य अंतर्दृष्टि साझा की।
उन्होंने कहा, एआई हमारी नवाचार यात्रा के मूल में है, जो परिचालन दक्षता को बढ़ाने और प्रभावशाली परिणाम देने वाले परिवर्तनकारी समाधानों को आगे बढ़ाता है।
इस अवसर पर इस्पात मंत्रालय के सचिव संदीप पौंड्रिक ने उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए इस बात पर जोर दिया कि, कृत्रिम बुद्धिमत्ता कोई दूर की भविष्य की अवधारणा नहीं है, बल्कि एक वर्तमान वास्तविकता है जो इस्पात उत्पादन की नींव को नए सिरे से परिभाषित कर रही है। गौरतलब है कि यह कार्यक्रम इस्पात मंत्रालय की तकनीकी प्रगति को अपनाने तथा सेल जैसी कंपनियों को एक लचीला और टिकाऊ भविष्य बनाने में सहायता करने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
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हिन्दुस्थान समाचार / प्रजेश शंकर