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प्रयागराज, 04 जनवरी (हि.स.)। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने एक आदेश में कहा है कि लोक निर्माण विभाग किसी भी कम्पनी को जो सड़कों के निर्माण कार्य में लगी है, उसे अनिश्चितकालीन स्थाई रूप से ब्लैक लिस्ट नहीं कर सकता है।
यह आदेश न्यायमूर्ति शेखर बी सर्राफ एवं न्यायमूर्ति वीसी दीक्षित की खंडपीठ ने मेसर्स एम आई कंस्ट्रक्शन व कई अन्य ब्लैक लिस्ट की गई कम्पनियों की तरफ से दाखिल याचिका पर पारित किया। इन याची कम्पनियों को गलत सूचना देने के आरोप में ब्लैक लिस्ट कर दिया गया था। बाद में इस कारण उनका चरित्र प्रमाण पत्र भी निरस्त कर दिया गया था।
लोक निर्माण विभाग द्वारा पारित आदेश 29 दिसम्बर 2023 एवं 24 जनवरी 2024 को हाईकोर्ट में चुनौती दी गई थी। इन आदेश के द्वारा पहले 6 माह तक तथा बाद में स्थाई तौर पर याची कम्पनियों को ब्लैक लिस्ट कर दिया गया था। हाईकोर्ट ने ब्लैक लिस्टिंग आदेश को रद्द कर दिया तथा कहा कि विभागीय आदेश अर्ध न्यायिक आदेश है। इस प्रकार का आदेश कैजुअल तरीके से नहीं पारित किया जाना चाहिए। कोर्ट ने आदेश रद्द कर विपक्षी विभाग को फ्रेश कारण बताओ नोटिस जारी कर आगे की कार्रवाई करने की छूट दी है।
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हिन्दुस्थान समाचार / रामानंद पांडे