Enter your Email Address to subscribe to our newsletters
खूंटी, 2 जुलाई (हि.स.)। वैसे तो झारखंड में कई तरह की अनूठी परंपराएं सदियों से चली आ रही हैं, हालांकि लोगों को इस बात की जानकारी नहीं है कि एसी परंपरा कब से चल रही है और इसका इतिहास क्या है, पर लोग उस परंपरा को आज भी मानते आ रहे हैं।
इन्हीं परंपराओं में एक है विवाहिता बेटियों द्वारा अपने माता-पिता को वस्त्र देकर उन्हें सम्मानित करने और उनका आशीर्वाद लेने की परंपरा। हालांकि न इस परंपरा का कोई नाम है और न इसको मनाने की परंपरा। मुरहू प्रखंड के राजा कुंजला गांव के ग्राम अध्यक्ष और भाजपा किसान मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष काशीनाथ महतो बताते हैं कि वे भी बचपन से ही इस प्रथा को देखते आये हैं।
उन्होंने कहा कि यह परंपरा हर दस-15 साल के अंतराल में मनाया जाता है। इसकी शुरूआत रांची जिले बेड़ो प्रखंड से होती है। समाज की विभिन्न जातियों द्वारा इस परंपरा का निर्वाह किया जाता है। उन्होंने बताया कि लगभग दस वर्षों के बाद खूंटी जिले में इस प्रथा को न्भिाया जा रहा है। अलग-अलग गांवों दो महीने तक अलग-अलग दिनों में बेटियां अपने माता-पिता को वस्त्र, उपहार आदि देकर उनका आशीर्वाद प्राप्त करते हैं। उन्होंने कहा कि राजा कुंजला गांव में जिस दिन देवी पूजा होती है,उसी दिन बेटियां गांव आकर अपने मात-पिता को सम्मानित करते हैं। गांव मंगलवार को ग्राम देवी की पूजा हुई, इसलिए आज गांव की सभी बेटियां गांव आई हैं और माता-पिता का आाशीर्वाद ले रही हैं।
हिन्दुस्थान समाचार/ अनिल