आवास योजना : 12 लाख लाभार्थियों के खाते में पैसे पहुंचते ही तीन हेल्पलाइन नंबर सक्रिय
कोलकाता, 28 दिसंबर (हि. स.)। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की सरकार ने केंद्र पर निर्भर न रहते हुए राज्य के खजाने से 12 लाख लाभार्थियों को आवास योजना की पहली किस्त के रूप में 60 हजार रुपये प्रति व्यक्ति भेजे हैं। इन राशि के हस्तांतरण के साथ
आवास योजना


कोलकाता, 28 दिसंबर (हि. स.)। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की सरकार ने केंद्र पर निर्भर न रहते हुए राज्य के खजाने से 12 लाख लाभार्थियों को आवास योजना की पहली किस्त के रूप में 60 हजार रुपये प्रति व्यक्ति भेजे हैं। इन राशि के हस्तांतरण के साथ ही नवान्न ने तीन हेल्पलाइन नंबर शुरू किए हैं, ताकि लाभार्थियों को किसी भी समस्या का समाधान तुरंत मिल सके।

राज्य सरकार की ओर से जारी विज्ञापन में बताया गया है कि आवास योजना से संबंधित किसी भी समस्या के लिए लाभार्थी इन हेल्पलाइन नंबरों पर संपर्क कर सकते हैं।

1. पंचायत विभाग का हेल्पलाइन नंबर : 1800 889 9451

2. मुख्यमंत्री का सीधा हेल्पलाइन नंबर : 91370 91370

3. आपातकालीन हेल्पलाइन नंबर : 112

लाभार्थियों को मोबाइल एसएमएस के जरिए जानकारी दी गई है। जिन लोगों को एसएमएस मिला है, लेकिन पहली किस्त नहीं मिली है, या जिन्हें पैसे मिलने के बाद अन्य समस्याएं हो रही हैं, वे इन हेल्पलाइन नंबरों पर संपर्क कर सकते हैं।

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सरकार की तत्परता के तीन कारण

1. कटमनी रोकने की पहल : निचले स्तर पर आवास योजना में भ्रष्टाचार और कटमनी की शिकायतें रोकने के लिए।

2. भविष्य की योजनाएं : अगले साल दिसंबर तक 16 लाख और लोगों को आवास योजना का लाभ देने की मुख्यमंत्री की घोषणा।

3. ग्रामीण जागरूकता : ग्रामीण इलाकों में कई लाभार्थियों को योजना के पैसे मिलने की जानकारी नहीं है।

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राजनीतिक संदर्भ और भ्रष्टाचार पर सख्ती

पिछले वर्षों में कटमनी के मुद्दे पर सरकार को आलोचना झेलनी पड़ी थी। मुख्यमंत्री ने 2019 में इस मामले में सख्त रुख अपनाते हुए निचले स्तर के नेताओं को फटकार लगाई थी। इस बार आवास योजना का पूरा पैसा राज्य सरकार द्वारा वहन किया जा रहा है।

तृणमूल नेता कुणाल घोष ने केंद्र पर आरोप लगाते हुए कहा कि केंद्र ने पैसा नहीं दिया, लेकिन राज्य सरकार ने अपने संसाधनों से लोगों को छत मुहैया कराई। उन्होंने कहा कि सरकार की प्राथमिकता है कि लाभार्थियों को किसी भी परेशानी का सामना न करना पड़े।

राज्य सरकार ने जिला और ब्लॉक प्रशासन को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि आवास योजना के नाम पर कोई स्थानीय नेता भ्रष्टाचार न करें। तृणमूल कांग्रेस ने इस हेल्पलाइन सेवा का व्यापक प्रचार सोशल मीडिया के जरिए शुरू कर दिया है।

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2026 के चुनाव पर नजर

सरकार ने इस योजना पर 14 हजार 773 करोड़ रुपये खर्च किए हैं। तृणमूल नेताओं का मानना है कि यह पहल 2026 के विधानसभा चुनावों को ध्यान में रखते हुए की गई है। हालांकि, सरकार यह सुनिश्चित करना चाहती है कि इस योजना में किसी भी स्तर पर कोई गड़बड़ी न हो।

लाभार्थियों से अपील की गई है कि वे अपनी किसी भी समस्या के समाधान के लिए तुरंत हेल्पलाइन नंबरों पर संपर्क करें और योजना का पूरा लाभ उठाएं।

हिन्दुस्थान समाचार / ओम पराशर