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श्रीनागर, 27 दिसंबर (हि.स.)। शुक्रवार को भी घाटी में कड़ाके की ठंड जारी है। मौसम विभाग ने जम्मू-कश्मीर में अगले 24 घंटों के दौरान हल्की बारिश और बर्फबारी की संभावना जताई है।
मौसम विभाग के अधिकारियों ने कहा कि अगले 24 घंटों के दौरान जम्मू संभाग के मैदानी इलाकों में हल्की बारिश और घाटी के ऊंचे इलाकों में बर्फबारी होने की संभावना है। इसी बीच जम्मू संभाग में शुक्रवार सुबह से ही घने बादलों के चलते मौसम बेहद सर्द बना हुआ है। जम्मू शहर में हल्की बारिश भी जारी है। बारिश को देखते ही लोगों ने राहत की सांस ली है क्योंकि शुष्क मौसम में लोग काफी बीमार पड़ रहे थे और फसलों पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। लोगों का कहना है कि हल्की बारिश से कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा, एक बार तेज बारिश हो ताकि सभी प्रकार चीज़ों से हमें राहत मिल सके। इसी बीच लंबे समय से सूखे की स्थिति किसानों और बागवानों के बीच गंभीर चिंता का विषय रही है क्योंकि वर्षा की कमी से रानी की अच्छी फसल और 2025 में सेब उत्पादन दोनों की संभावनाओं पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ने की संभावना है।
शुक्रवार को श्रीनगर शहर में न्यूनतम तापमान शून्य से नीचे 7.3 डिग्री सेल्सियस, गुलमर्ग में शून्य से नीचे 6 और पहलगाम में शून्य से नीचे 8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
जम्मू शहर में रात का न्यूनतम तापमान 8 डिग्री सेल्सियस, कटरा शहर में 7.4 डिग्री, बटोत में 2.1 डिग्री, बनिहाल में शून्य से नीचे 1.8 डिग्री और भद्रवाह में शून्य से नीचे 0.6 डिग्री रहा।
कश्मीर घाटी इस समय 40 दिनों तक चलने वाली भीषण सर्दी की अवधि जिसे ‘चिल्लई कलां’ कहा जाता है की चपेट में हैँ। यह भारी बर्फबारी का समय होता है जो जम्मू-कश्मीर के बारहमासी जलाशयों को भर देता है। ये बारहमासी जलाशय गर्मियों के महीनों में विभिन्न नदियों, झीलों और झरनों को बनाए रखते हैं।
बर्फ रहित सर्दी आपदा का कारण बनती है क्योंकि इससे गर्मियों के महीनों में पानी की अत्यधिक कमी हो जाती है। इस दौरान दिन के समय अधिकतम तापमान में कमी के साथ अत्यधिक शुष्क ठंड के कारण ठंड और पाला पड़ता है जिससे बुजुर्गों में शीतदंश और बच्चों में ठंड लगना जैसी समस्याएँ होती हैं।
हिन्दुस्थान समाचार / सुमन लता