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- अटल बिहारी वाजपेयी हिंदी विश्व विद्यालय का स्थापना दिवस मनाया गया
भोपाल, 25 दिसंबर (हि.स.)। अटल बिहारी वाजपेयी हिंदी विश्वविद्यालय, भोपाल में श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी जन्मशती एवं विश्वविद्यालय का स्थापना दिवस बुधवार को समारोहपूर्वक मनाया गया। विश्वविद्यालय में मुख्य अतिथि के रूप में मध्य प्रदेश के मुख्य आयुक्त उमाशंकर पचौरी एवं विशिष्ट अतिथि विश्वविद्यालय के लोकपाल डॉ. हरेंद्र मोहन मिश्र उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता विश्वविद्यालय के कुलगुरु डॉ. खेमसिंह डहेरिया ने की।
विश्वविद्यालय के कुलगुरु प्रो. खेमसिंह डहेरिया ने अपने वक्तव्य में अटल जी के संपूर्ण जीवन व चिंतन पर दृष्टि डालते हुए कहा कि अटल जी बहुआयामी व्यक्तित्व के धनी थे। हमारा विश्वविद्यालय प्रारंभ से ही उनकी दिखाई गई राह में चल कर नित उन्नति की ओर जा रहा है । हम अटल जी के नाम को सार्थक करने के लिए पूर्णतः प्रयासरत हैं।
कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के संकाय अध्यक्ष ने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी का जीवन एक महामानव का जीवन है। उन्होंने भारत को एक नई दृष्टि दी। डॉ. हरेन्द्र मोहन मिश्र ने कहा कि मैं अटल जी के से अपने विद्यार्थी जीवन से ही प्रभावित रहा और जब मैं 19 साल का था तब उनसे पहली बार मेरा साक्षात्कार हुआ। वो एक भविष्यवक्ता और भारतदृष्टा थे।
उमाशंकर पचौरी ने अपने वक्तव्य में अटल जी को कर्मवादी की संज्ञा देते हुए कहा कि अटल जी कर्मवादी थे। उनके जीवन में कर्म ही प्रधान रहा। उन्होंने आने वाले भारत को प्रेरणा दी। नाट्य विभाग के छात्रों द्वारा डॉ. रवींद्र मुंडे के नेतृत्व में अटल जी की चुनिंदा कविताओं का काव्य पाठ किया गया। कार्यक्रम में अंत में विश्वविद्यालय के कुलसचिव श्री शैलेन्द्र कुमार जैन ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस कार्यक्रम में वर्ष भर आयोजित अंतर विश्वविश्वविद्यालयीन, जिला स्तरीय,संभाग स्तरीय व राज्य स्तरीय प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेने वाले छात्रों को शील्ड व प्रमाण पत्र देकर पुरस्कृत किया गया। समारोह में विश्वविद्यालय के सहायक प्राध्यापक, शिक्षक, समस्त कर्मचारीगण के साथ साथ अनेक छात्र उपस्थित रहे।
हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश तोमर