मेधा आधारित भर्ती प्रक्रिया से युवाओं की सोच में बदलाव: मुख्यमंत्री
- मुख्यमंत्री ने गोलाघाट जिले में 12 दिन विकास के पहल के तहत आयोजित कार्यक्रम में भाग लिया - गोलाघाट में चल रहे निर्माण कार्यों का जायजा लिया गुवाहाटी, 14 दिसंबर (हि.स.)। 11 दिसंबर से शुरू हुई 12 दिन विकास के पहल के तहत मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्व
मुख्यमंत्री डॉ हिमंत बिस्व सरमा गोलाघाट जिले में 12 दिन विकास के पहल के तहत आयोजित कार्यक्रम में भाग लेते हुए।


गोलाघाट में चल रहे निर्माण कार्यों का जायजा लेते हुए मुख्यमंत्री डॉ हिमंत बिस्व सरमा।


- मुख्यमंत्री ने गोलाघाट जिले में 12 दिन विकास के पहल के तहत आयोजित कार्यक्रम में भाग लिया

- गोलाघाट में चल रहे निर्माण कार्यों का जायजा लिया

गुवाहाटी, 14 दिसंबर (हि.स.)। 11 दिसंबर से शुरू हुई 12 दिन विकास के पहल के तहत मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्व सरमा ने आज गोलाघाट जिले का दौरा किया। इस पहल का उद्देश्य राज्य के विकास को गति देना और जनता के कल्याण को प्राथमिकता देना है। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कई महत्वपूर्ण योजनाओं के लाभ वितरित किए, जिनमें असम माइक्रोफाइनेंस इंसेंटिव एंड रिलीफ स्कीम (चरण III, श्रेणी II) के तहत लाभार्थियों को नो ड्यू सर्टिफिकेट, 2024 की बाढ़ प्रभावित परिवारों को प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी), और प्रधानमंत्री फॉर्मलाइजेशन ऑफ माइक्रो फूड प्रोसेसिंग एंटरप्राइजेज योजना के तहत स्व-सहायता समूहों को बीज पूंजी प्रदान की गई।

डॉ. सरमा ने बताया कि माइक्रोफाइनेंस योजना के तीसरे चरण के तहत गोलाघाट की 5,119 महिला ऋणधारकों के ऋण माफ कर दिए गए हैं। इसके अलावा, जिले के बाढ़ प्रभावित 2,011 परिवारों को वित्तीय सहायता दी गई, जिसमें बोकाखात सबसे अधिक प्रभावित क्षेत्र रहा। यहां 1,970 परिवारों को नुकसान हुआ। पीएमएफएमई योजना के तहत गोलाघाट के 189 स्व-सहायता समूहों को बीज पूंजी प्रदान की गई।

मुख्यमंत्री ने कहा कि 12 दिन विकास के पहल राज्य सरकार का एक व्यापक प्रयास है, जिसका उद्देश्य असम के हर कोने में जनता तक पहुंचना और उनकी समस्याओं का समाधान करना है। उन्होंने बताया कि इस पहल के दौरान छह प्रमुख योजनाओं को लागू किया जा रहा है, जिनमें से तीन छात्रों के लिए और तीन माताओं के लिए हैं। छात्रों के लिए डॉक्टर बाणीकांत काकती और आनंदराम बरुवा पुरस्कार जैसे सम्मान शुरू किए गए हैं। साथ ही नौवीं कक्षा के छात्रों को साइकिल वितरित की जा रही है।

मुख्यमंत्री ने बताया कि उनकी सरकार ने सरकारी भर्तियों में पारदर्शिता सुनिश्चित की है। उन्होंने कहा कि असम लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित परीक्षाओं में योग्य युवाओं को उनकी योग्यता के आधार पर नौकरी मिल रही है। इससे राज्य में शिक्षा के प्रति युवाओं की रुचि बढ़ी है।

उन्होंने बुनियादी ढांचे के विकास की योजनाओं का जिक्र करते हुए बताया कि नुमलीगढ़ से गहपुर तक एक सुरंग सड़क परियोजना शुरू की जाएगी, जिसकी अनुमानित लागत 12,000 करोड़ रुपये है। इसके अलावा, ब्रह्मपुत्र नद पर पुलों, मेडिकल कॉलेजों और विश्वविद्यालयों के निर्माण की योजनाओं को भी प्राथमिकता दी जा रही है।

डॉ. सरमा ने कहा कि असम मुख्यमंत्री उद्यमिता योजना के तहत स्व-सहायता समूहों की महिलाओं को 10,000 रुपये की वित्तीय सहायता दी जा रही है, जिसे अगले वर्ष 15,000 रुपये किया जाएगा। इसके साथ ही राशन कार्ड वितरण और अरुनोदय योजना के तहत 1.5 लाख महिलाओं को लाभान्वित किया जाएगा।

इस कार्यक्रम में वित्त मंत्री अजंता नेओग, कृषि मंत्री अतुल बोरा, विधायक भबेंद्र नाथ भराली, बिस्वजीत फूकन, मृणाल सैकिया सहित अन्य गणमान्य लोग उपस्थित थे।

मुख्यमंत्री ने गोलाघाट के उपायुक्त कार्यालय, मेडिकल कॉलेज और कैंसर अस्पताल के निर्माण कार्यों का भी निरीक्षण किया। उन्होंने गोलाघाट मेडिकल कॉलेज और अस्पताल, जो 582 करोड़ रुपये की लागत से बन रहा है, को 2026 के मध्य तक पूरा करने का निर्देश दिया। इसके पहले, मुख्यमंत्री ने अपने दिन की शुरुआत लचित बरफूकन पुलिस अकादमी, देरगांव में एक पाइन का पेड़ लगाकर की।

हिन्दुस्थान समाचार / श्रीप्रकाश