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कानपुर, 20फरवरी(हि.स.)। भारत-आयरलैंड के शैक्षणिक संबंधों को नए आयामों की ओर ले जाते हुए आयरलैंड में एक कार्यक्रम के दौरान भारतीय विश्वविद्यालय संघ और आयरलैंड इंडिया कॉन्सिल, (आईआईसी) के बीच एक एमओयू पर हस्ताक्षर हुए। इस समझौते के माध्यम से दोनों देशों के छात्रों को व्यवहारिक अनुभव प्रदान करने के लिए इंटर्नशिप का मौका प्रदान किया जाएगा। यह समझौता ज्ञापन भारतीय राजदूत की उपस्थिति में हुआ। यह जानकारी भारतीय विश्वविद्यालय संघ के अध्यक्ष और सीएसजेएमयू के कुलपति प्रो. विनय कुमार पाठक ने दी।
उन्होंने बताया कि यह समझौता दोनों देशों के उच्च शिक्षण संस्थानों के बीच सहयोग को सुदृढ़ करने, अनुसंधान एवं नवाचार को बढ़ावा देने और विद्यार्थियों तथा संकाय सदस्यों के आदान-प्रदान को सुगम बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
प्रोफेसर ने कहा कि आज के प्रतिस्पर्धी युग में, बहु-विषयक अनुसंधान, नवाचार और डिजिटल शिक्षा पर विशेष ध्यान देना आवश्यक है। यह साझेदारी कृत्रिम बुद्धिमत्ता, मशीन लर्निंग, हरित ऊर्जा, चिकित्सा अनुसंधान, और उद्यमिता जैसे क्षेत्रों में नए रास्ते खोलेगी।
उन्होंने बताया कि इस साझेदारी के माध्यम से संयुक्त अनुसंधान परियोजनाओं को बढ़ावा मिलेगा, जिससे विज्ञान, प्रौद्योगिकी, समाजशास्त्र और मानविकी के क्षेत्र में नवाचार को नई दिशा मिलेगी। इस समझौते के माध्यम से भारतीय और आयरलैंड के विश्वविद्यालयों के विद्यार्थियों को उनके संबंधित क्षेत्रों में व्यावहारिक अनुभव प्राप्त करने के किए छात्रों को इंटर्नशिप का मौका मिलेगा।
उद्योग और शिक्षा के बीच संबंध होंगे सशक्त
प्रो पाठक ने कहा कि अकादमिक संस्थानों और उद्योगों के बीच साझेदारी को बढ़ावा मिलेगा, ताकि विद्यार्थी केवल थ्योरी तक सीमित न रहें, बल्कि उन्हें प्रैक्टिकल अनुभव भी मिले।
संयुक्त सेमिनार, कार्यशालाएं और सम्मेलन होंगे आयोजित
प्रो विनय कुमार पाठक ने कहा कि यह पहल हमें ज्ञान के आदान-प्रदान के लिए एक मंच प्रदान करेगी, जिससे संकाय सदस्यों, विद्यार्थियों और शोधकर्ताओं को लाभ मिलेगा।
इंडिया इमर्शन प्रोग्राम को दिया जाएगा बढ़ावा
इस समझौते के माध्यम से आयरिश छात्रों को इस कार्यक्रम के माध्यम से भारतीय शिक्षण पद्धतियों के साथ भारतीय संस्कृति को जानने का अवसर भी प्राप्त होगा।
हिन्दुस्थान समाचार / मो0 महमूद