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बीकानेर, 20 फ़रवरी (हि.स.)। सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) के महानिदेशक, लेफ्टिनेंट जनरल रघु श्रीनिवासन, पीवीएसएम, वीएसएम ने दाे दिवसीय राजस्थान का दौरा कर परियोजना चेतक के तहत चल रहे विभिन्न सड़क निर्माण कार्यों का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने सामरिक और नागरिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण सड़क परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की और आवश्यक निर्देश दिए।
महानिदेशक के बीकानेर आगमन पर, परियोजना चेतक के मुख्य अभियंता सुरेश गुप्ता ने उन्हें बीआरओ द्वारा निष्पादित किए जा रहे विभिन्न सड़क कार्यों की अद्यतन जानकारी दी। इसके अलावा, मेजर जनरल अनिल कुमार पुंडीर, एसएम, वीएसएम, जनरल ऑफिसर कमांडिंग, 24 रैपिड से भी डीजीबीआर ने मुलाकात की और सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण परियोजनाओं पर चर्चा की।
इस दौरे के दौरान लेफ्टिनेंट जनरल श्रीनिवासन ने बिरधवाल-पुग्गल-बज्जु सड़क की प्रगति का निरीक्षण किया, जो सामरिक और नागरिक दोनों दृष्टि से महत्वपूर्ण मानी जाती है। यह सड़क राजस्थान के सीमावर्ती इलाकों में रक्षा बलों के आवागमन को सुगम बनाने के साथ-साथ स्थानीय आबादी को भी सुविधाएं प्रदान करेगी।
बीआरओ इस परियोजना के तहत 213 किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण कर रहा है, जिसमें से 183 किलोमीटर भाग को राष्ट्रीय राजमार्ग दोहरी लेन पक्के शोल्डर विनिर्देशों के तहत अपग्रेड किया जा रहा है। शेष 30 किलोमीटर सड़क को अन्य एजेंसियों द्वारा पहले ही उन्नत किया जा चुका है। वर्तमान में, इस क्षेत्र में सड़क की स्थिति बेहद खराब है, जिससे सेना और नागरिकों दोनों को आवागमन में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है।
अपग्रेड की गई बिरधवाल-पुग्गल-बज्जु सड़क, सूरतगढ़ से बीकानेर को जोड़ने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग 62 का एक वैकल्पिक मार्ग बनेगी। यह सड़क सूरतगढ़ से बीकमपूर और नाचना तक सिविल और भारी वाहनों की निर्बाध आवाजाही में सहायता करेगी। इसके अलावा, इस सड़क से भोपालपूरा, गोविंदसर, गोपालसर, हिंगारसर, मारिसिंगूपूरा और लालगडिया जैसे स्थानीय गांवों में रहने वाली आबादी को यात्रा समय की बचत होगी और उनकी कृषि उपज को भी तेजी से बाजारों तक पहुंचाने में सहायता मिलेगी।
बीआरओ की परियोजना चेतक पंजाब, राजस्थान और गुजरात में सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण सड़क अधोसंरचना के निर्माण और रखरखाव में अहम भूमिका निभा रही है। यह परियोजना बीआरओ के आदर्श वाक्य चेतक का प्रयास, देश का विकास के अनुरूप कार्य कर रही है, जिसका मूल उद्देश्य सीमावर्ती इलाकों को मजबूत सड़क नेटवर्क से जोड़ना है।
महानिदेशक ने बीआरओ की कड़ी मेहनत और उत्कृष्ट योजना की सराहना की और परियोजना को निर्धारित समय से पहले पूरा करने के लिए अधिकारियों और इंजीनियरों को प्रोत्साहित किया। उन्होंने राजस्थान के अत्यधिक गर्म मौसम और कठिन भौगोलिक परिस्थितियों में काम कर रहे बीआरओ कर्मियों की भूरी-भूरी प्रशंसा की।
लेफ्टिनेंट जनरल रघु श्रीनिवासन ने बीआरओ की इस प्रतिबद्धता को सराहा और आगे भी इस तरह की रणनीतिक परियोजनाओं को समय पर पूरा करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सड़क अवसंरचना का मजबूत नेटवर्क न केवल सैन्य दृष्टि से बल्कि आर्थिक और सामाजिक विकास के लिए भी बेहद आवश्यक है।
राजस्थान के सीमावर्ती इलाकों में बीआरओ की परियोजनाएं रक्षा बलों और आम नागरिकों दोनों के लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं। इस दौरे से यह स्पष्ट हो गया कि बिरधवाल-पुग्गल-बज्जु जैसी सड़कों के उन्नयन से सैन्य रणनीतिक लाभ के साथ-साथ ग्रामीण विकास को भी बढ़ावा मिलेगा। सीमा सड़क संगठन अपने सतत प्रयासों से भारत के सीमावर्ती क्षेत्रों को मजबूत बनाने और राष्ट्रीय सुरक्षा को सुदृढ़ करने की दिशा में अग्रसर है।
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हिन्दुस्थान समाचार / राजीव